थारो खूब साजो सिणगार | By Pramod Bansal
थारो खूब साजो सिणगार म्हारा सांवरिया
म्हारा सांवरिया, म्हारा सांवरिया
मोर मुकुट की रे शोभा सोवनी
जा पे देवूं तन मन वार म्हारा सांवरिया
थारो खूब साजो सिणगार म्हारा सांवरिया
नैन रसीला रे तेरा जुलम करे
तन्ने मोह लियो सब संसार म्हारा सांवरिया
थारो खूब साजो सिणगार म्हारा सांवरिया
रत्न जड़ित सोवे कुण्डल काना में
तेरे गल पुष्पन का हार म्हारा सांवरिया
थारो खूब साजो सिणगार म्हारा सांवरिया
बाघों केसरियो थारे खूब सजे
जा की कली कली गुलजार म्हारा सांवरिया
थारो खूब साजो सिणगार म्हारा सांवरिया
चंदा निरखे रे बाबा रूप तेरो
जा के मनडे हर्ष अपार म्हारा सांवरिया
थारो खूब साजो सिणगार म्हारा सांवरिया
Tharo Khoob Sajo Shringar | By Pramod Bansa
Tharo Khoob Sajo Singaar Mhara Sanwariya
Mhara Sanwariya, Mhara Sanwariya
Mor Mukut Ki Re Shobha Sovni
Ja Pe Devu Tan Man Vaar Mhara Sanwariya
Tharo Khoob Sajo Singaar Mhara Sanwariya
Nain Rasila Re Tera Julam Kare
Tanne Moh Liyo Sansar Mhara Sanwariya
Tharo Khoob Sajo Singaar Mhara Sanwariya
Ratn Jadit Sove Kundal Kaana Mein
Tere Gal Pushpan Ka Haar Mhara Sanwariya
Tharo Khoob Sajo Singaar Mhara Sanwariya
Bagho Kesariyo Thare Khoob Saje
Ja Ki kali Kali Gulzaar Mhara Sanwariya
Tharo Khoob Sajo Singaar Mhara Sanwariya
Chanda Nirkhe Re Baba Roopo Tero
Jaa Ke Manre Harsh Apaar Mhara Sanwariya
Tharo Khoob Sajo Singaar Mhara Sanwariya